राजस्थान में लाखों महिलाएं बड़े उत्सुकता से इंतजार कर रही थीं, लेकिन अब उनका इंतजार 10 अगस्त को समाप्त हो गया है। प्रदेश में लगभग 1.40 करोड़ महिलाओं को फ्री स्मार्टफोन देने का काम 10 अगस्त से शुरू हो गया है। यह कदम इंदिरा गांधी मुफ्त स्मार्टफोन योजना के तहत उठाया गया है, जिसके तहत प्रदेश की महिलाओं को स्मार्टफोन प्रदान किए जाएंगे। यह योजना के पहले चरण की शुरुआत 10 अगस्त से की गई है, जिसके अंतर्गत 40 लाख महिलाओं को मुफ्त मोबाइल फोन प्रदान किए जा रहे हैं। इसके साथ ही, प्रत्येक महीने 5 जीबी डेटा, स्थानीय और एसटीडी कॉलिंग की सुविधा भी उपलब्ध कराई जा रही है।
जयपुर के बिरला ऑडिटोरियम में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया है।
गुरुवार को CM Ashok Gehlot ने एक योजना की शुरुआत की, जिसमें 400 से अधिक मोबाइल वितरण कैंप का उद्घाटन किया गया। बिरला ऑडिटोरियम, जयपुर में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री गहलोत ने महिलाओं को मोबाइल फोन बांटे। इस कार्यक्रम की शुरुआत करते समय अशोक गहलोत ने कहा कि राजीव गांधी ने संविधान में संशोधन किया, जिसके बाद पंचायतों में महिलाओं को सम्मानित किया गया।
प्रधानमंत्री समेत कुछ विपक्षी व्यक्तियों का कहना है कि यह स्मार्टफोन वितरण महिलाओं के अपमान की ओर एक कदम है। वे इस तरह की बातों से महिलाओं का अपमान कर रहे हैं। हालांकि यह स्मार्टफोन महिलाओं के सशक्तिकरण की दिशा में एक प्रयास है। इसके माध्यम से महिलाएं सशक्त हो सकती हैं। हम 2030 की दिशा में काम कर रहे हैं, और उस समय के मुख्यमंत्री के बारे में कोई निश्चित जानकारी नहीं है, लेकिन प्रक्रिया होनी चाहिए।
क्या है इंदिरा गांधी स्मार्ट फोन योजना ?
राजस्थान की कांग्रेस सरकार ने इस योजना को “इंदिरा गांधी स्मार्टफोन योजना” के नाम से प्रकाशित किया है। इस योजना के अंतर्गत, परिवार की महिला मुखिया को मुफ्त में स्मार्टफोन प्रदान किया जाएगा। साथ ही, स्मार्टफोन का इंटरनेट उपयोग करने के लिए 3 साल तक मुफ्त डेटा भी दिया जाएगा। इसमें मुफ्त कॉलिंग और मैसेजिंग की भी सुविधा होगी। परिवार की महिला मुखिया को 3 साल तक मुफ्त में इंटरनेट का उपयोग करने की अनुमति होगी। इस योजना के अंतर्गत, प्रत्येक महीने 5 जीबी डेटा, स्थानीय और एसटीडी कॉलिंग की सुविधा नि:शुल्क रूप में उपलब्ध की जाएगी। यदि किसी लाभार्थी की सूची में नाम नहीं है, तो वे राजस्थान संपर्क 181 पर पंजीकरण करा सकते हैं।
पहले चरण
पहले चरण में, चिरंजीवी परिवारों को स्मार्टफोन प्रदान किया जाएगा। इसमें वह परिवार शामिल होंगे जिनकी बेटियां सरकारी स्कूल की 10वीं या 12वीं कक्षा में पढ़ रही हैं, या ऐसी बेटियां जो उच्च शिक्षा के लिए महाविद्यालय, आईटीआई या पॉलिटेक्निक संस्थानों में पढ़ रही हैं। साथ ही, पेंशन प्राप्त करने वाली महिलाओं को भी पहले चरण में स्मार्टफोन प्रदान किया जाएगा।
दूसरे चरण
दूसरे चरण में, एकल नारी और पेंशन पा रही महिलाओं को प्राथमिकता दी जा रही है। MGNREGA में 100 दिन पूरे कर चुकी महिलाएं भी इस योजना के लाभार्थी होंगी। साथ ही, शहरी क्षेत्रों में गारंटी योजना में 50 दिन काम पूरा करने वाले परिवारों को भी पहले चरण में मुफ्त स्मार्टफोन प्रदान किए जाएंगे। स्मार्टफोन प्रदान करने का मुख्य आधार जन आधार कार्ड है। इसके साथ ही, सरकार उन महिलाओं को टेक्स्ट मैसेज के माध्यम से जानकारी प्रदान कर रही है जिन्हें स्मार्टफोन प्रदान किया जा रहा है। प्रदेश में, जिला स्तर पर प्रशासन द्वारा कैंप आयोजित करके स्मार्टफोन वितरण का कार्यक्रम चल रहा है।
स्मार्टफोन महिला सशक्तिकरण का बनेगा बड़ा माध्यम
इंदिरा गांधी स्मार्टफोन योजना के शुभारंभ के मौके पर राजाखेड़ा विधायक रोहित बोहरा ने कहा कि प्रदेश सरकार जनता से किए गए प्रत्येक वादे को पूरा करने के प्रति प्रतिबद्ध है। वह बताते हैं कि राज्य सरकार ने निरंतर इतिहास रचने का काम किया है। उन्होंने यह भी उजागर किया कि इंदिरा गांधी स्मार्टफोन योजना महिलाओं के सशक्तिकरण का एक महत्वपूर्ण और उपयोगी माध्यम होगा। इस योजना के माध्यम से, प्रदेश की हर महिला के पास मोबाइल फोन होगा। विशेष रूप से, स्कूली बच्चियों को मोबाइल फोन मिलने से वे अपने अध्ययन को तेजी से आगे बढ़ा सकेंगी।
इंटरनेट के माध्यम से, बालिकाएं अपने विषय संबंधित सवालों को समझने और समाधान पाने में सहायक हो सकेंगी, इसके साथ ही महिलाएं अब खुद के स्मार्टफोन के माध्यम से किसी भी प्रकार की आवश्यकता पर निर्भर नहीं रहेंगी। उन्होंने बताया कि इस योजना के पहले चरण में प्रदेश में लगभग 40 लाख महिलाएं शामिल की गई हैं।